शुभमन गिल की कप्तानी में पहली बार हुआ ऐसा कमाल, इससे पहले कभी नहीं देखा ऐसा नजारा
भारतीय टेस्ट क्रिकेट के इतिहास में पहली बार ऐसा हुआ है, जब एक टेस्ट की प्लेइंग इलेवन में पांच बाएं हाथ के बल्लेबाज खेल रहे हों।
शुभमन गिल को टेस्ट टीम इंडिया का कप्तान बने हुए अभी कुछ ही वक्त हुआ है, लेकिन इस दौरान बहुत कुछ ऐसा देखने को मिल रहा है, जो इससे पहले कभी नहीं हुआ था। कप्तान के तौर पर गिल पहला मैच हार गए, लेकिन दूसरे में उन्होंने वापसी की और उसे जीत लिया। अब वे चौथे टेस्ट में कप्तानी कर रहे हैं। इस बीच मैनचेस्टर टेस्ट में पहली बार ऐसा नजारा देखने के लिए मिला, जो भारतीय टेस्ट के इतिहास में कभी नहीं हुआ था।
भारत ने अब से करीब 92 साल पहले 1932 में खेला था पहला टेस्ट मैच
भारत ने अपना पहला टेस्ट मैच अब से करीब 92 साल पहले 1932 में इंग्लैंड के ही खिलाफ खेला था। ये मुकाबला लॉर्ड्स के ऐतिहासिक मैदान पर खेला गया था। हालांकि तब भारत आजाद नहीं हुआ था और यहां पर भी अंग्रेजों की हुकूमत ही हुआ करती थी। तब से लेकर अब तक भारत ने देश और और दुनिया में बड़ी संख्या में मुकाबले खेले, लेकिन जो अब शुभमन गिल की कप्तानी में इस सीरीज के चौथे मैच में देखने के लिए मिला, वो इससे पहले कभी नहीं हुआ था।
पहली बार टीम इंडिया की प्लेइंग इलेवन में पांच बाएं हाथ के बल्लेबाज
दरअसल मैनचेस्टर में खेले जा रहे चौथे टेस्ट में भारत ने अपनी प्लेइंग इलेवन में तीन बदलाव किए हैं। करुण नायर, नितीश कुमार रेड्डी और आकाश दीप को बाहर जाना पड़ा है। वहीं साई सुदर्शन, शार्दुल ठाकुर और अंशुल कम्बोज को टीम की प्लेइंग इलेवन में मौका दिया गया है। इससे हुआ ये है कि भारतीय टीम की प्लेइंग इलेवन में पांच बल्लेबाज ऐसे हो गए हैं, जो बाएं हाथ से खेलते हैं। ऐसा पहली बार हुआ है, जब टीम इंडिया किसी मैच में पांच बाएं हाथ के बल्लेबाजों के साथ मैदान में उतरी हो।
पांच में से तीन बाएं हाथ के बल्लेबाजों ने लगाए अर्धशतक
बाएं हाथ के बल्लेबाजों की बात की जाए तो उसकी शुरुआत टॉप से ही हो जाती है। सलामी बल्लेबाज यशस्वी जायसवाल, साई सुदर्शन, ऋषभ पंत, रवींद्र जडेजा और वॉशिंग्टन सुंदर ये पांच ऐसे खिलाड़ी हैं, जो बाएं हाथ से बल्लेबाजी करते हैं। मजे की बात ये है कि इसमें से तीन ने अर्धशतक लगाने में कामयाबी हासिल की। यशस्वी जायसवाल, साई सुदर्शन के अलावा चोटिल पंत ने भी अर्धशतक लगाए। अब ये शायद इत्तेफाक ही होगा। लेकिन देखना ये होगा कि जब भारत ने पहली बार पांच बाएं हाथ के बल्लेबाज टीम में रखे हैं तो जीत मिलती है या फिर टीम हार जाती है।
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